RBI Dormant Account Rule: क्या आपने कभी सोचा है कि अगर आपका बैंक खाता सालों तक इस्तेमाल नहीं किया गया तो क्या होगा? आपकी मेहनत की कमाई, आपकी जमा पूंजी, क्या वो सुरक्षित रहेगी? आरबीआई के डॉर्मेंट अकाउंट के नियमों को लेकर अक्सर लोगों के मन में यही सवाल उठते हैं। हाल ही में, देश के दो बड़े बैंकों पर आरबीआई ने इन्हीं नियमों का पालन न करने पर लाखों रुपए का जुर्माना लगाया है, जिसने सभी का ध्यान खींचा है। यह आर्टिकल आपको बताएगा कि आखिर ये डॉर्मेंट अकाउंट नियम क्या हैं, किन बैंकों पर जुर्माना लगा है, और सबसे जरूरी, आप अपने खाते को डॉर्मेंट होने से कैसे बचा सकते हैं।

इस आर्टिकल को पूरा जरूर पढ़ें क्योंकि इसमें हम आपको इस मामले से जुड़ी हर छोटी-बड़ी जानकारी देंगे। हम न सिर्फ उन बैंकों के नाम बताएंगे जिन पर जुर्माना हुआ है, बल्कि यह भी समझाएंगे कि अगर आपका खाता पहले से ही डॉर्मेंट है तो उसे वापस एक्टिव कैसे करवाना है। यह जानकारी आपके लिए बहुत फायदेमंद साबित हो सकती है और आपकी जमा रकम को सुरक्षित रखने में मददगार हो सकती है। इसलिए, आर्टिकल को अंत तक पढ़ना न भूलें।

आरबीआई के डॉर्मेंट अकाउंट नियम क्या हैं?

डॉर्मेंट अकाउंट यानी ‘सोया हुआ खाता’। आरबीआई के मुताबिक, अगर कोई सेविंग या करंट अकाउंट लंबे समय तक इस्तेमाल नहीं किया जाता है, तो उसे डॉर्मेंट अकाउंट की श्रेणी में डाल दिया जाता है। आपकी जानकारी के लिए बता दें, सेविंग अकाउंट को अगर लगातार 2 साल तक कोई ट्रांजैक्शन नहीं होता है, तो बैंक उसे डॉर्मेंट घोषित कर देता है। एक बार खाता डॉर्मेंट हो जाने के बाद, आप उसमें से पैसे निकाल नहीं सकते हैं, चेक बुक नहीं मंगवा सकते और न ही ऑनलाइन ट्रांजैक्शन कर सकते हैं। हालांकि, खाते में जमा पैसे सुरक्षित रहते हैं और ब्याज मिलता रहता है।

किन बैंकों पर लगा है आरबीआई का जुर्माना?

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, आरबीआई ने देश के दो मशहूर बैंकों – बैंक ऑफ बड़ौदा और कोटक महिंद्रा बैंक पर डॉर्मेंट अकाउंट और अन्य नियमों का सही तरीके से पालन न करने के लिए भारी जुर्माना लगाया है। सूत्रों के मुताबिक, बैंक ऑफ बड़ौदा पर 96 लाख रुपए से ज्यादा और कोटक महिंद्रा बैंक पर 78 लाख रुपए के करीब जुर्माना ठोका गया है। यह जुर्माना सिर्फ पैसों तक सीमित नहीं है, बल्कि यह बैंकों की गलत प्रथाओं की ओर एक सख्त संदेश है।

डॉर्मेंट अकाउंट से क्या परेशानियां होती हैं?

अगर आपका खाता डॉर्मेंट हो जाता है, तो आपको कई तरह की दिक्कतों का सामना करना पड़ सकता है:

  • पैसे निकालने में रुकावट: आप अपने ही खाते से जरूरत के समय पैसे नहीं निकाल पाएंगे।
  • चेक बाउंस होना: अगर आपने कोई चेक दिया है और खाता डॉर्मेंट है, तो वह चेक बाउंस हो जाएगा।
  • ऑटोमैटिक पेमेंट फेल: आपके EMI या बिल का ऑटोमैटिक भुगतान रुक सकता है, जिससे आपको और मुश्किल हो सकती है।
  • दोबारा एक्टिवेशन की प्रक्रिया: खाता वापस चालू करवाने के लिए आपको बैंक के चक्कर लगाने पड़ सकते हैं और कुछ फॉर्मलिटीज पूरी करनी पड़ सकती हैं।

अपने खाते को डॉर्मेंट होने से कैसे बचाएं?

अपने बैंक खाते को डॉर्मेंट होने से बचाना बहुत आसान है। आपको बस थोड़ी सी सावधानी बरतने की जरूरत है:

  • नियमित ट्रांजैक्शन करते रहें: साल में कम से कम एक बार खाते में कोई लेन-देन जरूर करें, चाहे वो छोटी सी रकम जमा करना ही क्यों न हो।
  • बैंक को सूचित करें: अगर आप लंबे समय तक देश से बाहर रहने वाले हैं या खाता इस्तेमाल नहीं कर पाएंगे, तो पहले ही बैंक को लिखित में जानकारी दे दें।
  • नोमिनी जरूर बनवाएं: खाते में नोमिनी का नाम लगाना न भूलें। इससे आपके परिवार वालों को भविष्य में किसी तरह की दिक्कत नहीं होगी।

अगर खाता पहले से डॉर्मेंट है तो क्या करें?

अगर आपको पता चलता है कि आपका खाता डॉर्मेंट हो चुका है, तो घबराएं नहीं। आप इसे आसानी से वापस एक्टिव करवा सकते हैं। इसके लिए आपको अपने बैंक की शाखा में जाकर एक एप्लिकेशन फॉर्म भरना होगा और KYC के कुछ दस्तावेज (जैसे आधार कार्ड, पैन कार्ड) दिखाने होंगे। आमतौर पर, बैंक इस प्रक्रिया को 24 से 48 घंटे के अंदर पूरा कर देता है। आपको बता दें, इस प्रक्रिया के लिए बैंक आपसे कोई extra चार्ज नहीं ले सकता है, यह आरबीआई का नियम है।

निष्कर्ष: सजग रहें, सुरक्षित रहें

आरबीआई द्वारा बैंकों पर जुर्माना लगाना यह साबित करता है कि ग्राहकों के हितों की सुरक्षा करना कितना जरूरी है। लेकिन, अपने पैसों की सुरक्षा की जिम्मेदारी सबसे पहले आपकी खुद की है। अपने बैंक खातों पर नजर बनाए रखें, थोड़ा-बहुत लेन-देन करते रहें और बैंक के साथ अपना संपर्क updated रखें। ऐसा करके आप न केवल अपने पैसों को सुरक्षित रख पाएंगे, बल्कि भविष्य में होने वाली किसी भी तरह की परेशानी से भी बचे रहेंगे। आपकी छोटी सी सावधानी आपकी मेहनत की कमाई को बचाने में बहुत ब